World Population Day 2020: कोरोना काल का जन्म दर पर बुरा असर, जानें इसके पीछे की वजह
हर साल 11 जुलाई की तारीख को 'विश्व जनसंख्या दिवस' के रूप में मनाया जाता है। इस दिन को मनाने का मुख्य उद्देश्य लोगों को बढ़ती जनसंख्या के प्रति सचेत करना है। हर साल 'विश्व जनसंख्या दिवस' की थीम अलग होती है। यहां तक कि लोगों को बढ़ती जनसंख्या के प्रति सचेत करने के लिए दुनियाभर में कई कार्यक्रम भी आयोजित किए जाते हैं जिसमें लोगों को परिवार नियोजन के बारे में भी बताया जाता है। हर साल विश्व जनसंख्या दिवस की थीम अलग होती है। कोरोना महामारी को देखते हुए इस बार की थीम 'महिलाओं और लड़कियों के स्वास्थ्य और अधिकारों की सुरक्षा' है।
जानिए क्यों मनाते है विश्व जनसंख्या दिवस
इस दिन को मनाने के पीछे सबसे बड़ा कारण है लोगों की बढ़ती जनसंख्या और उससे जुड़े मुद्दों को लेकर जागरूक करना है। संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम आम सभा ने 11 जुलाई 1989 को विश्व जनसंख्या दिवस मनाने का फैसला लिया था। तब से ही इस दिन को दुनिया भर में मनाया जाता है।
जनसंख्या से जुड़े रोचक तथ्य
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लंदन स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स के सर्वे के अनुसार कोरोना महामारी की जनसंख्या में उछाल की बजाय गिरावट का कारण बनेगा। यूरोपीय देश इटली, जर्मनी, फ्रांस की बात करें तो 18 से 34 साल के 50 से 60 फीसदी युवाओं ने अगले एक साल तक परिवार को आगे बढ़ाने की योजना को टाल दिया है।
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एक रिपोर्ट में अनुमान लगाया गया है कि मई-जून और जुलाई में कोरोना के कहर के साथ अमेरिका, यूरोप और तमाम एशियाई देशों में जन्म दर 30 से 50 फीसदी तक की कमी आएगी।
- वहीं यूएन के अनुमान के मुताबिक 2023 तक पूरी दुनिया की आबादी 8 अरब से 2056 तक 10 अरब से ज्यादा हो जाएगी। ये अनुमान विश्व के लिए चिंताजनक जरूर है।
- यूएन के अनुमान के अनुसार 2025-2030 के बीच भारत जनसंख्या के मामले में चीन से भी आगे निकल सकता है। भारत की आबादी 1 अरब 65 करोड़ तक पहुंच जाने का अनुमान है।
- साल 2017 से 2050 तक जनसंख्या के मामले में ये 9 देशों का सबसे ज्यादा योगदान होगा। यानी कि विश्व की आधी आबादी इन देशों की होगी। जिसमें भारत भी शामिल है। इन देशों के नाम है क्रमश: भारत, नाइजीरिया, कांगो का लोकतांत्रिक गणराज्य, पाकिस्तान, इथियोपिया, संयुक्त राज्य अमेरिका तंजानिया, संयुक्त राज्य अमेरिका, युगांडा और इंडोनेशिया।
- इस समय जनसंख्या के मामले में चीन पहले स्थान पर है। दूसरे नंबर पर भारत और तीसरे पर अमेरिका है।
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