Coronavirus पॉजीटिव मामलों की संख्या 300 के पार, 22 राज्य चपेट में
नई दिल्ली। भारत में कोरोना वायरस के पॉजीटिव मामलों का आंकड़ा 300 के पार पहुंच गया है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक, शनिवार रात 10 बजकर 45 मिनट तक देश भर में कोरोना वायरस से संक्रमित कुल मामले 315 दर्ज किए गए हैं और देश के 22 राज्य/केंद्र शासित प्रदेश इसकी चपेट में आ चुके हैं। हांलिक, इन मामलों में वे मामले भी शामिल हैं जो ठीक हो चुके हैं। देशभर में कोरोना वायरस से अबतक 4 लोगों की मौत हो चुकी है।
जनता कर्फ्यू शुरू हो रहा है...
— Narendra Modi (@narendramodi) March 22, 2020
मेरी विनती है कि सभी नागरिक इस देशव्यापी अभियान का हिस्सा बनें और कोरोना के खिलाफ लड़ाई को सफल बनाएं।
हमारा संयम और संकल्प इस महामारी को परास्त करके रहेगा। #JantaCurfew pic.twitter.com/p5onFBSoPB
कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज 22 मार्च रविवार को पूरे देश की जनता से जनता कर्फ्यू में सहयोग की अपील की है। सुबह 7 बजे से जनता कर्फ्यू पूरे देश में लागू है और रात 9 बजे तक जनता कर्फ्यू लागू रहेगा। जनता कर्फ्यू में लोगों से सहयोग की अपील की गई है, साथ ही कई राज्यों में लॉकडाउन किया गया है। राजस्थान 31 मार्च तक लॉकडाउन कर दिया गया है, महाराष्ट्र के 4 शहर लॉकडाउन किया गया है।
इसलिए लगना पड़ा जनता कर्फ्यू
भारत में कोरोना का संक्रमण अभी स्टेज-2 में है। यह जिस तेजी से फैल रहा है, उसे देखते हुए स्टेज-3 यानी कम्युनिटी ट्रांसमिशन का खतरा बढ़ता जा रहा है। इस खतरे से बचने में सोशल डिस्टेंसिंग यानी एक-दूसरे से दूर रहने और भीड़भाड़ वाली जगहों पर नहीं जाने को एक अहम कदम माना जा रहा है। ऐसे में लोगों का अपने घरों में रहना इस संक्रमण के चक्र को तोड़ने में मददगार होगा।
दिल्ली स्वास्थ्य विभाग के मुताबिक, राष्ट्रीय राजधानी में कोरोना वायरस के कुल मामले बढ़कर 27 हो गए हैं। दिल्ली, मुंबई, चेन्नई, कोलकाता जैसे महानगरों में मेट्रो व नगरीय ट्रेन सेवाएं भी नहीं चलेंगी। दिल्ली, उत्तर प्रदेश, पश्चिम बंगाल और तमिलनाडु समेत देश के कई अन्य राज्यों में जनता कर्फ्यू का व्यापक असर देखने को मिल रहा है। यहां सड़कें सुनसान पड़ी हुई हैं।
एम्स ने सोमवार से नियमित ओपीडी पंजीकरण रद्द करने का फैसला किया
अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) ने सोमवार (23 मार्च 2020) से मरीजों के नियमित ओपीडी पंजीकरण (बाहृय रोगी विभाग) को अस्थायी तौर पर बंद रखने का फैसला किया है। संस्थान अपने संसाधनों का उपयोग कोविड-19 के प्रकोप की रोकथाम के लिए करना चाहता है। एम्स के एक अधिकारी ने कहा, '' सभी केंद्रों और एम्स अस्पताल के विशेष क्लीनिक समेत नियमित ओपीडी के मरीजों का पंजीकरण 23 मार्च से अगले आदेश तक अस्थायी तौर पर बंद रखने का फैसला किया गया है।''
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